चंडीगढ़ । गायक से अभिनेता और फिर राजनेता बने सिद्धू मूसेवाला की हत्या पंजाब में एक अंतर-गिरोह प्रतिद्वंद्विता प्रतीत होती है। पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) वी.के. भवरा ने यह बात कही है। उन्होंने कहा, प्रथम दृष्टया, यह लॉरेंस बिश्नोई समूह और लकी पटियाल समूह के बीच एक अंतर-गिरोह प्रतिद्वंद्विता प्रतीत होता है।
उन्होंने कहा, लॉरेंस बिश्नोई समूह ने मूसेवाला की हत्या की जिम्मेदारी लेकर कहा कि यह विक्की मिड्डखेड़ा की हत्या का प्रतिशोध है।
पुलिस ने कहा कि सरकार द्वारा मूसेवाला की सुरक्षा में कटौती के 24 घंटे से भी कम समय में, 29 वर्षीय मूसेवाला की रविवार को दिनदहाड़े मनसा में उनके पैतृक गांव के पास गैंगस्टरों ने गोली मारकर हत्या कर दी। वह थार एसयूवी में सवार थे, जब हमलावरों ने गायक और उसके दो दोस्तों पर पॉइंट-ब्लैंक रेंज में 20 से अधिक राउंड फायर किए, जो गंभीर रूप से घायल हो गए। मूसेवाला को सात-आठ गोलियां लगीं।
यह पता चला है कि अपराध में एके-47 राइफल का इस्तेमाल किया गया था, क्योंकि इसके शेल अपराध स्थल से बरामद किए गए थे।
डीजीपी ने कहा कि हरियाणा के रहने वाले सनी, अनिल लाठ और भोलू तीन शूटरों को मिड्डखेड़ा की हत्या के सिलसिले में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने पहले ही गिरफ्तार कर लिया है, जबकि एक अन्य आरोपी की पहचान शगनप्रीत के रूप में हुई है, जो मूसेवाला का मैनेजर था। मिड्डखेड़ा की हत्या के संबंध में दर्ज प्राथमिकी में भी आरोपी के रूप में नामित किया गया था।