इस्लामाबाद । पाकिस्तान में सत्ता परिवर्तन के बाद हालात सुधरने की जगह खराब हो रहे है। चुनाव की दुबारा मांग को लेकर पूर्व पीएम इमरान खान अपने समर्थकों के साथ इस्लामाबाद पहुंचे, जहां उन्होंने आजादी मार्च निकाला। इस आजादी मार्च को रोकने के लिए शाहबाज शरीफ की सरकार रेड जोन में बड़ी संख्या में सेना की तैनाती कर रही है। इमरान के आजादी मार्च के बाद से पाकिस्तान के बड़े शहरों की घेराबंदी की गई है। इस बीच पूर्व प्रधानमंत्री इमरान ने चेतावनी दी कि अगर छह दिनों के भीतर चुनाव की तारीखों की घोषणा नहीं की जाती है, तब वह फिर इस्लामाबाद आएंगे।
जैसे ही इमरान खान का आजादी मार्च शुरू हुआ, पंजाब, कराची और लाहौर में कई जगहों पर पार्टी कार्यकर्ताओं और पुलिसवालों के बीच झड़प हो गई। पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर मोहम्मद हफीज ने शिकायत की कि लाहौर के पेट्रोल पंपों में ईंधन खत्म हो गया है, एटीएम में पैसे नहीं है। इस्लामाबाद में इमरान खान के प्रवेश करने से पहले शहर के रेड जोन की रक्षा के लिए सेना को बुलाया गया था।
बता दें कि इस्लामाबाद गुरुवार को युद्ध का मैदान बन गया और इस प्रदर्शन में पुलिस ने आंसू गैस के गोले भी छोड़े। पाकिस्तानी मीडिया ने दावा किया कि पीटीआई समर्थकों ने उसके कार्यालय पर हमला किया जिसमें कुछ पत्रकार घायल हो गए। इमरान ने इस्लामाबाद पहुंचकर मार्च को संबोधित किया, जहां उन्होंने कहा कि अगर वह धरना देते हैं, तब सरकार खुश होगी क्योंकि इससे उनकी पार्टी और पुलिस के बीच और झड़पें होगी। उन्होंने कहा, मैंने तय किया था कि जब तक सरकार विधानसभाओं को भंग नहीं कर देती और चुनाव की घोषणा नहीं कर देती, तब तक मैं यहां बैठूंगा, लेकिन पिछले 24 घंटों में मैंने जो देखा है, वे (सरकार) देश को अराजकता की ओर ले जा रहे हैं। पीटीआई अध्यक्ष ने यह भी दावा किया कि झड़पों में उनकी पार्टी के पांच प्रदर्शनकारी मारे गए।